It is recommended that you update your browser to the latest browser to view this page.

Please update to continue or install another browser.

Update Google Chrome

‘बीसीआई’ ने हासिल किया 50 प्रतिशत ‘ट्रेसेबल कॉटन’ का माइलस्टोन:कृ स्थिरता की दिशा में बड़ी प्रगति
By Textile Mirror - 24-11-2025

जिनेवा/ वैश्विक स्तर पर सतत कपास उत्पादन को प्रोत्साहन देने वाली संस्था ‘बेटर कॉटन इनिशिएटिव’ ;बीसीआईद्ध ने एक महत्वपूर्ण उपलब्धि दर्ज की है। संगठन ने घोषणा की है कि अब उसके द्वारा प्रमाणित लगभग 50 प्रतिशत कपास ‘भौतिक रूप से ट्रेसेबल हो चुका है। हालांकि, वर्तमान में यह ट्रेसिंग अधिकांश मामलों में केवल ‘देश-स्तर  तक ही संभव है।
यह उपलब्धि वैश्विक टेक्सटाइल और फैशन उद्योग में पारदर्शिता और जिम्मेदार आपूर्ति श्रृंखला की दिशा में एक बड़ी प्रगति मानी जा रही है। ‘बीसीआई’ का लक्ष्य है कि आने वाले वर्षों में इस ट्रेसबिलिटी को ‘फार्म-लेवल ट्रेसिंग’ तक विस्तारित किया जाए, जिससे हर कपास के गुच्छे की पहचान उत्पादन के मूल खेत तक संभव हो सके।
‘बीसीआई’ ने बताया कि यह सफलता उसके नए ‘बेटर कॉटन टेªसेबिलिटी सिस्टम’ और डिजिटल सप्लाई-चेन प्लेटफ़ॉर्म के जरिये हासिल की गई है। इस प्लेटफ़ॉर्म के माध्यम से अब खरीददार, स्पिनर और रिटेलर्स कपास के स्रोत देश की पुष्टि कर सकते हैं, जिससे ग्रीनवॉशिंग और गलत आपूर्ति दावों पर अंकुश लगाने में मदद मिलेगी।
वर्तमान में ‘बीसीआई’ लगभग 2.5 मिलियन किसानों के साथ 25 से अधिक देशों में कार्य कर रही है, जो वैश्विक कपास उत्पादन का लगभग 22 प्रतिशत हिस्सा प्रदान करते हैं। संगठन का कहना है कि ‘भौतिक ट्रेसेबिलिटी’ से किसानों की आय, पर्यावरणीय डेटा और सामाजिक मानकों की निगरानी भी अधिक प्रभावी ढंग से की जा सकेगी।
उद्योग विशेषज्ञों के अनुसार, यह माइलस्टोन वैश्विक फैशन ब्राण्ड्स के लिए भी महत्वपूर्ण है, क्योंकि अब वे अपने कपास स्रोतों को बेहतर तरीके से सत्यापित कर पाएंगे। जिससे सप्लाई चेन की पारदर्शिता, कार्बन फुटप्रिंट में कमी, और सस्टेनेबल प्रोडक्शन को नई गति मिलेगी।
‘बीसीआई’ का अगला लक्ष्य 2027 तक अपने 100 प्रतिशत कपास को ट्रेसेबल बनाना है, ताकि उपभोक्ता यह जान सकें कि उनके वस्त्र वास्तव में कितने ‘जिम्मेदार तरीके’ से बनाए गए हैं।

सम्बंधित खबरे